Bihar Land Motation Case : बिहार के मुख्यमंत्री श्री नीतीश कुमार दाखिल खारिज को लेकर जारी कर दिया अल्टीमेट जिसे अब कर्मचारियों को बचाना मुश्किल होगा बिहार में जमीन विवाद को सुलझाने के लिए बिहार के मुख्यमंत्री श्री नीतीश कुमार के द्वारा एक बार फिर से बड़ा कदम उठाया गया है क्योंकि सरकार की ओर से बिहार में जमीन का दाखिल खड़ी से जुड़ी समस्या को सोते हुए अधिकारियों को नीतीश सरकार के द्वारा शख्स्थ निर्देश जारी किया गया है और कहा गया है की लापरवाही बरतने वाले पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी यह चेतावनी दी गई है क्योंकि पटना जिले में दाखिल खारिज का लंबित मामलों की बड़ी संख्या को देखते हुए नीतीश सरकार के द्वारा यह बड़ा कदम उठाया गया है। लिए जानते हैं बिहार दाखिल खारिज को लेकर क्या है नया फैसला।
बिहार दाखिल खारिज को लेकर सरकार का क्या है आदेश?
बिहार दाखिल खारिज को लेकर नीतीश सरकार के द्वारा अल्टीमेट जारी कर दिया गया है जहां सुधार लाने को 10 दिन दिया गया है क्योंकि आदेश देते हुए कहा गया है कि अधिकारियों को अपने-अपने कार्यों को सुधार लाने के लिए 10 दिन का समय दिया जा रहा है और ऐसे में यदि अधिकारी इसमें सुधार नहीं करते हैं सुधार नहीं आया तो दूसरी अधिकारियों के विरुद्ध सेक्स करवाई किया जाएगा आगे जिलाधिकारी ने सभी भूमि सुधार उपसमाकर्ताओं को अपने-अपने क्षेत्र में इसके अलावा अंचलों का निरीक्षण करने और राजस्व कार्यो का निगरानी करने का भी निर्देश दिया गया है सरकार के द्वारा यह सुनिश्चित करने को कहा गया है कि निर्देशों को पूरी तरह पालन करना होगा।
Bihar Dakhil Kharij News अब हर सप्ताह समीक्षा?
दाखिल खारिज को लेकर अब हर सप्ताह समीक्षा क्योंकि राजस्व संबंधित मामलों की साप्ताहिक समीक्षा किया जाएगा और इसके अलावा जिला स्तर पर टीम बनाकर एवं आंचल का निरीक्षण किया जाएगा और ऐसे में यदि कोई अनियमित पाया जाता है तो फिर संबंधित रास्ता कर्मचारी और अंचलाधिकारी के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी और फिर भूमि सुधार उपसमाहर्ता के न्यायालय कार्यों का समीक्षा किया जाएगा इसके अलावा अभी पटना डीएम ने अंचल अधिकारी को 90 दिनों से ज्यादा समय से लंबित अतिक्रमण के मामले को प्राथमिकता के आधार पर निपटने का भी निर्देश दे दिया है और ऐसे में बैठक में अब जिलाधिकारी ने दाखिल खारिज और परिमार्जन के आवेदन के निष्पादन की स्थिति मामले के लंबित रहने के कारण फिर अन्य मनको पर विस्तृत समीक्षा की है आईए जानते हैं पटना के कौन-कौन प्रखंडों का हाल खराब है।
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पटना के इन प्रखंडों का हाल है खराब?
पटना के तीन प्रखंडों का हाल खराब है क्योंकि जिलाधिकारी के द्वारा समीक्षा में पाया है कि 8 जुलाई तक अब परिमार्जन का 2,99,757 आवेदनों में से 97.07% का ही निष्पादित किया गया है और ऐसे में अब बचे हुए आवेदन पर समय और गुणवत्तापूर्ण निष्पादन करने का भी आदेश दिया गया है 20 दिन से 8 जुलाई तक दाखिल खारिज के मामलों में बीटा घुसूरी फतवा विक्रम और मोकामा में अच्छी प्रगति की है इसके अलावा धनरूआ दानापुर मसौढ़ी नौबतपुर और पंदरा का प्रदर्शन भी खराब रहा है और फिर जिस जिस नचले मेंदाखिल खारिज का मामला को एस्फेकृत किया गया है वहां सुधार उपसमाहर्ता समीक्षा कर रिपोर्ट देना होगा और फिर अंशुलों का अंचल अधिकारी को स्थिति में तुरंत सुधार लाने का भी निर्देश दिया गया है।
बिहार दाखिल खारिज को लेकर क्या है फैसला?
बिहार में जमीन विवाद को सुलझाने के लिए बिहार के मुख्यमंत्री श्री नीतीश कुमार काफी एक्टिव नजर आ रहे हैं क्योंकि बिहार में दाखिल खारिज से जुड़ी समस्या को लेकर नीतीश सरकार के द्वारा आदेश जारी किया गया है और कहा गया है कि इसमें लापरवाही बरतने वाले अधिकारियों पर सेक्स कार्रवाई करने की बात कहा गया है सरकार के द्वारा विवादों के निपटारे के लिए अधिकारियों को सख्त निर्देश जारी किया गया है क्योंकि पटना जिले में अकेले ही दाखिल खारिज की लंबित मामलों की संख्या 7885 है 3135 आवेदन 21 दिनों से अधिक तथा 400182 आवेदन 63 दिनों से अधिक समय से लंबित है इसमें जिलाधिकारी डॉक्टर चंद्रशेखर सिंह के द्वारा रास्ता मामले की समीक्षा करते हुए अधिकारियों को भी चेतावनी देते हुए कहा गया है कि दक्षिण कार्य एवं परिमार्जन का आवेदन का निर्धारित समय सीमा के अंदर निष्पादन जरूर कारण अन्यथा अनुशासनात्मक एवं विभागीय कार्रवाई किया जाएगा।